Hindu text bookगीता गंगा
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॥ श्रीहरि:॥

महात्मा गान्धी

“भारतवर्षमें गोरक्षाका प्रश्न स्वराज्यसे किसी प्रकार भी कम नहीं। कई बातोंमें मैं इसे स्वराज्यसे भी बड़ा मानता हूँ। जबतक हम गायको बचानेका उपाय ढूँढ़ नहीं निकालते, तबतक स्वराज्य अर्थहीन कहा जायगा।”

“गोरक्षा हिंदूधर्मकी दी हुई दुनियाके लिये बक्शीश है। हिंदूधर्म भी तभीतक रहेगा, जबतक गायकी रक्षा करनेवाले हिंदू हैं।”

“गायकी रक्षा करना ईश्वरकी सारी मूक सृष्टिकी रक्षा करना है।”

“भारतकी सुख-समृद्धि गौ और उसकी संतानके साथ जुड़ी हुई है।”

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